अर्थव्यवस्था घटनाक्रम

2020 में मुद्रास्फीति की दर उच्चतम स्तर :-

  • सांख्यिकी एवं कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय की नवम्बर 2020 की रिपोर्ट के अनुसार अक्टूबर 2020 में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक पर आधारित मुद्रास्फीति की दर अखिल भारतीय स्तर पर 7.61 प्रतिशत रही जो 77 महीनो में सर्वोच्च स्तर है।
  • भारत में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति के आंकड़े केंद्र सरकार के सांख्यिकी एवं कार्यान्वयन मंत्रालय द्वारा प्रति माह जारी किए जाते हैं।
  • इस सूचकांक की गणना के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक का आधार वर्ष 2012 है।
  • उपभोक्ता मूल्य सूचकांक की गणना के लिए वस्तुओं एवं सेवाओं के मूल्य संबंधी आंकड़े राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय के फील्ड स्टाफ द्वारा चुनिन्दा शहरी बाज़ारों और गावों से संग्रहीत किए जाते हैं।
  • उपभोक्ता खाद्य मूल्य सूचकांक के आंकड़े भी सांख्यिकी एवं कार्यान्वयन मंत्रालय द्वारा जारी किए जाते हैं।

आत्मनिर्भर भारत 3.0 के तहत 2.65 लाख करोड़ का पैकेज:-

  • अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहन देने के लिए भारत सरकार ने आत्मनिर्भर भारत 3.0 के तहत 12 उपायों की घोषणा केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने की। इसके तहत 2.65 लाख करोड़ का पैकेज की घोषणा हुयी।
  • आत्मनिर्भर भारत योजना 1 अक्टूबर 2020 से प्रभावी हुयी इसका उद्देश्य कोविड महामारी के दौर में अधिक से अधिक रोजगार का सृजन करना है।
  • सूक्ष्म, लघु और माध्यम उपक्रमों, व्यवसायों और मुद्रा ऋण प्राप्तकर्ताओं के लिए आपातकालीन क्रेडिट लाइन गारंटी योजना का विस्तार 31 मार्च 2021 तक किया गया।
  • प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी के लिए 8000 करोड़ के अतिरिक्त 18000 करोड़ राशि आबंटित की गयी।

औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति :-

  • औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक श्रम मंत्रालय के लेबर ब्यूरो ने नवम्बर 2020 में जारी किया जो पिछले वर्ष नवम्बर 2019 से 5.91 प्रतिशत अधिक है। 
  • इस प्रकार औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के आधार पर मुद्रास्फीति के दर 5.91 प्रतिशत रही।
  • औद्योगिक श्रमिकों के लिए उपभोक्ता मूल्य सूचकांक श्रम मंत्रालय के लेबर ब्यूरो द्वारा मासिक आधार पर जारी किया जाता है। 
  • किसी भी माह के लिए यह सूचकांक अगले माह के अंतिम तारीख को जारी किया जाता है।

15वें वित्त आयोग ने फाइनल रिपोर्ट राष्ट्रपति को सौंपी:-

  • एन0 के0 सिंह की अध्यक्षता वाले 15वें वित्त आयोग ने अपने फाइनल रिपोर्ट राष्ट्रपति को नवम्बर 2020 में सौंप दी।
  • इस रिपोर्ट में 2021-22 से 2025-26 तक की अवधि के लिए केंद्र और राज्य सरकारों के बीच वित्त के विभाजन के संबंध में सिफ़ारिश की गयी है। इसकी एक -एक प्रति प्रधानमंत्री और वित्त मंत्री को भी भेजी गयी।
  • वित्त मंत्री इस रिपोर्ट को और इस पर एक्शन टेकेन रिपोर्ट को संसद में प्रस्तुत करेंगी इसके बाद इसे सार्वजनिक किया जाएगा।
  • एन के सिंह की अध्यक्षता वाले इस आयोग में अन्य सदस्य हैं - अजय नारायण झा, अशोक लाहिड़ी,  अनूप सिंह, रमेश चंद

भारत के अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला का 40वां संस्करण रद्द :- 

  • भारत का अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला प्रतिवर्ष नवम्बर माह में दिल्ली के प्रगति मैदान में आयोजित किया जाता है।
  • इस मेले की शुरुवात 1979 में इंडिया ट्रेड प्रमोशन आर्गेनाइजेशन के तत्वाधान में किया गया था।

विदेशी मुद्रा कोष 575 अरब डॉलर के रिकॉर्ड स्तर पर :-

  • नवम्बर 2020 के अंत में भारत के आरक्षित विदेशी मुद्रा कोष 575 अरब डॉलर के बिन्दु तक पहुँच गया।
  • भारत के आरक्षित विदेशी मुद्रा कोष में विदेशी मुद्रा संपत्तियाँ, स्वर्ण, विशेष आहरण अधिकार, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के पास सुरक्षित राशि शामिल की जाती है।
  • भारत के आरक्षित विदेशी मुद्रा कोष में सबसे ज्यादा हिस्सा विदेशी मुद्रा परसंपत्तियों की है और सबसे कम विशेष आहरण अधिकार।

भ्रष्टाचार बोध सूचकांक में भारत की रैंकिंग में गिरावट :-

  • वर्ष 2020 में भारत की रैंकिंग भ्रष्टाचार बोध सूचकांक में 6 अंकों  की गिरावट के साथ 180 देशों की सूची में 86वां रही।
  • पिछले वर्ष 2019 के भ्रष्टाचार सूचकांक में भारत की रैंकिंग 80 थी।
  • भ्रष्टाचार बोध सूचकांक को जर्मनी की संस्था ट्रांसपेरेंसी इन्टरनेशनल द्वारा जारी किया जाता है।
  • भ्रष्टाचार बोध सूचकांक में उच्चतम मूल्य 100 पूर्णतः स्वस्थ स्थिति को व्यक्त करता है वहीं 0 पूर्ण भ्रष्ट स्थिति का सूचक है।
  • इस रिपोर्ट के अनुसार सबसे कम भ्रष्टाचार न्यूजीलैंड में है। और सबसे ज्यादा भ्रष्टाचार सोमालिया में है।
  • ब्रिक्स देशों में सबसे अच्छी स्थिति दक्षिण अफ्रीका की है।
  • भारत के पड़ोसी देशों में सबसे अच्छी स्थिति भूटान की है।

नीति आयोग का नवाचार सूचकांक 2020 जारी :-

  • नीति आयोग ने अपने दूसरे भारत नवाचार सूचकांक को जनवरी 2021 में जारी किया।
  • भारत नवाचार सूचकांक दो क्षेत्रों इनेबलर्स और परफ़ोर्मेंस के क्षेत्र में अर्जित औसत स्कोर के आधार पर जारी किया जाता है।
  • इस सूचकांक के आधार पर बड़े राज्यों में पहले स्थान पर कर्नाटक, दूसरे पर महाराष्ट्र और तीसरे स्थान पर तमिलनाडु है।
  • इस सूचकांक में मध्यप्रदेश का स्थान 13वां है।
  • केंद्रशासित प्रदेशों में पहला स्थान दिल्ली को मिला है।

विश्व बैंक की ग्लोबल इकोनमिक प्रासपेक्टस रिपोर्ट जारी :-

  • विश्व बैंक ने जनवरी 2021 में ग्लोबल इकोनमिक प्रासपेक्टस रिपोर्ट जारी की।
  • इस रिपोर्ट के अनुसार वैश्विक अर्थव्यवस्था में सिकुड़न 2020 में 4.3 प्रतिशत रही।
  • विश्व बैंक की इस रिपोर्ट के अनुसार कोविड महामारी से ग्रसित रहे विकसित देशों की 2020 में GDP में गिरावट 5.4 प्रतिशत रही।
  • रिपोर्ट के अनुसार प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में केवल चीन ही ऐसा बड़ा देश रहा जहां कोविड के दौर में भी GDP में 2 प्रतिशत की वृद्धि 2020 में दर्ज की गयी।

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की वर्ल्ड इकोनमिक आउटलुक रिपोर्ट जारी :-

  • वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं के निष्पादन और संभावनाओं के संबंध में अंतराष्ट्रीय मुद्रा कोष ने जनवरी 2021 में वर्ल्ड इकोनमिक आउटलुक रिपोर्ट जारी किया।
  • इस रिपोर्ट में कहा गया है की 2021 में भारत बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में द्विअंकीय वृद्धि वाला एकमात्र देश होगा। और चीन का स्थान दूसरा होगा।
  • इस रिपोर्ट में आईएमएफ़ ने 2021-22 में भारत के जीडीपी में वृद्धि 11.5 प्रतिशत का अनुमान लगाया गया है।

संयुक्त राष्ट्र की वर्ल्ड इकोनोमिक सिचुएशन एंड प्रोस्पेक्टस रिपोर्ट जारी :-

  • संयुक्त राष्ट्र संघ के सामाजिक और आर्थिक मामलों के विभाग ने जनवरी 2021 में वर्ल्ड इकोनोमिक सिचुएशन एंड प्रोस्पेक्टस रिपोर्ट जारी की।
  • इस रिपोर्ट में कहा गया कि वर्ष 2020 में कोविड महामारी का सबसे ज्यादा प्रभाव भारतीय अर्थ्वुवस्था पर रहा जिसके कारण इसकी जीडीपी में सिकुड़न 9.6 प्रतिशत रही। और 2021 में जीडीपी में वृद्धि 7.3 प्रतिशत की संभावना बताया गया है।
  • रिपोर्ट के अनुसार चीन को छोडकर 2020 में विश्व के अधिकांश देशों में वृद्धि दर ऋणात्मक रही है।

अंकटाड की इनवेस्टमेंट ट्रेंड्स रिपोर्ट जारी :-

  • अंकटाड (United Nations Conference on Trade and Development) ने जनवरी 2021 में इनवेस्टमेंट ट्रेंड्स रिपोर्ट जारी की।
  • इस रिपोर्ट के अनुसार 2020 में एफ़डीआई के बड़े प्राप्तकर्ता देशों में एफ़डीआई अंतर्प्रवाह में भारी गिरावट रही।
  • इस रिपोर्ट के अनुसार केवल भारत और चीन ही एकमात्र ऐसे देश रहे जहां एफ़डीआई अंतर्प्रवाह में वृद्धि रही। भारत में यह वृद्धि जहां 13 प्रतिशत रही वहीं चीन में यह वृद्धि 4 प्रतिशत रही।